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आयोजन से क्षेत्र की आर्थिकी में भी हो रही है बढोतरी
चमोली। भगवान शिव और’ माता पार्वती के पौराणिक विवाह स्थल त्रियगीनारायण मंदिर देश-दनिया के नव युगलों की पहली पसंद बन रहा है। यहा आयोजित होने वाली शादियों मे क्षेत्र की स्थानीय आर्थिकी में बढोतरी हो रही है। वहीं स्थानीय होटल, होमस्टे, परिवहन, फल-व्यवसाय, बैंड-वाजा एवं पुजारी समुदाय को सीधा लाभ मिल रहा है।
त्रियुगीनारायण पुरोहित समिति के अध्यक्ष सच्चिदानंद पंचपुरी ने बताया कि 2022 से यहां औपचारिक रूप से विवाह पंजीकरण की प्रक्रिया शुरू की गई थी। इसके उपरांत शिव-पार्वती के दिव्य विवाह स्थल पर डेस्टिनेशन वेडिंग की संख्या में लगातार वृद्ध दर्ज की गई है। वर्ष 2022 से 2025 के बीच कल 750 विवाह संपन्न हुए, जिसमें वर्ष 2022 में 50 विवाह, 2023 में 200 विवाह, 2024 के 200 विवाह तथा 2025 में अब तक 300 विवाह संपन्न हो चके है। वहीं खंड विकाश अधिकारी थराली नितिन धानिया द्वारा भी अपनी शादी का आयोजन त्रियुगीनारायण में ही किया। प्रशासनिक स्तर पर यह पहल क्षेत्र में वेडिंग डेस्टिनेशन के रूप में पहचान बन रही है।
प्रशासनिक प्रयासों के चलते त्रियुगीनारायण अब उत्तराखण्ड का प्रमख डेस्टनेशन वेंडिंग बन चुका है। वहीं बहतर सुविधाओं, बुनयाद ढांचे और पर्यन व्यवस्था के विस्तार से इस क्षेत्र के सामाजिक-आर्थिक विकास मं और तजी आने का उम्मीद है।


