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चमोली।गोपेश्वर नगर सहित ग्रामीण क्षेत्रों में छोटी दीवाली पर्व को गढ़वाल के प्रमुख त्योहार बग्वाल के रूप में मनाया गया। बुधवार को नगर के साथ ही उससे सटे तमाम ग्रामीण क्षेत्रों में सुबह से ही पर्व की तैयारियां शुरू कर दी थी, जिसके चलते लोगों ने घरों में अपनी गायों को नहलाकर उनकी पूजा अर्चना कर उन्हें मंडुवे और चावल से बने पकवानों (पीना) का भोग लगाया साथ ही गाय माता के सींग में सरसों का तेल लगाकर फूल मालाओं से सजाया।
बुजुर्ग भगत सिंह फर्स्वाण ने बताया कि पहाड़ में बड़ी दीवाली को बग्वाल पर्व और दीपावली की ठीक 11 दिन बाद इगास बग्वाल पर्व के रूप में मनाया जाता है। डॉ. डी एस नेगी ने बताया कि इस दिन रक्षाबंधन पर हाथ पर बंधे रक्षासूत्र को गाय के बछड़े की पूंछ पर बाँधकर मन्नत पूरी होने के लिए आशीर्वाद भी मांगा जाता है। पहाड़ में बग्वाल और गोवर्धन पूजा दोनों ही दिन गाय माता की पूजा और उनको पूरी-पकौड़े, स्वाले, चावल और मंडुवे से बने पकवानों का भोग लगाया जाता है।